आज छुपा है चाँद चुरा कर वो हर ख़ुशी
जो मिली थी हमे कुछ दो पल पहले ही
हमने भी चुरा ली है उसकी दो बूँद रौशनी
कि जब वो सोया होगा ख्वाबों में चांदनी के
हम चला लेंगे काम उस दो बूँद रौशनी से!
जो मिली थी हमे कुछ दो पल पहले ही
हमने भी चुरा ली है उसकी दो बूँद रौशनी
कि जब वो सोया होगा ख्वाबों में चांदनी के
हम चला लेंगे काम उस दो बूँद रौशनी से!
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